खूनी हुआ पद्मावती का विरोध, नाहरगढ़ किले में लटकी मिली लाश

जयपुर,समय जाने के साथ ही देश में पद्मावती मूवी को लेकर विवाद हो गहराता जा रहा है। अभी तक हिसंक हो रहा प्रदर्शन अब खूनी भी हो चला है। शुक्रवार को फिल्म पद्मावती के विरोध में नया हिंसक मोड़ आ गया है। जयपुर के नाहरगढ़ किले की दीवार से एक शख्स की लाश लटकी मिली है और उसके पास पत्थर पर लिखा है हम पुतला जलाते नहीं लटकाते हैं। चेतन तांत्रिक मारा गया। इस सनसनीखेज वारदात के बाद पुलिस हरकत में है। पुलिस ने अपने शुरुआती तफ्तीश में बताया है कि शव की पहचान कर ली गई है। उसका नाम चेतन शर्मा बताया गया है और उसके पास मुंबई का एक रेल टिकट मिला है। पुलिस इस मामले की जांच में जुट गई है,लेकिन उसने इस वारदात को पद्मावती से जोड़ने से इनकार किया है। पुलिस फिलहाल इस एंगल से जांच कर रही है कि ये मामला आत्महत्या का है या फिर हत्या का।
मलिक मोहम्मद जायसी के महाकाव्य पद्मावत में तांत्रिक चेतन का जिक्र है। तांत्रिक चेतन राघव चित्तौड़गढ़ के राजा रतनसेन के दरबार में हुआ करता था। एक बार उसकी तंत्र विद्या से आहत होकर राजा ने उसे दरबार से बाहर कर दिया था और देश निकाला दे दिया था। तांत्रिक ने पूर्णिमा की रात पहले ही तंत्र विद्या से पूर्णिमा का चांद दिखा दिया था। इससे पंडितों के साथ साथ राजा रतनसेन भी नाराज हुए थे जो तंत्र विदया के खिलाफ थे। देश निकाले के बाद तांत्रिक चेतन राघव उलाऊद्दीन खिलजी के दरबार में पहुंचा था। वहां उसने खिलजी को रानी पद्मावती की सुंदरता का बखान किया था। जायसी की पद्मावत के अनुसार चेतन राघव ने जिस तरह से रानी पद्मावती की सुंदरता के बारे में विस्तार से खिलजी को बताया था उसके बाद ही खिलजी की रानी पद्मावती को पाने ही इच्छा जाग्रत हुई थी और उसने चित्तौड़गढ़ के किले पर हमला किया था।

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