रायपुर, छत्तीसगढ़ की नई तबादला नीति में साफ किया गया है कि शासकीय सेवक पति-पत्नी को एक ही स्थान पर पदस्थापना का अधिकार नहीं रहेगा। यह भी स्पष्ट किया गया है कि यदि कोई शासकीय सेवक अनुसूचित क्षेत्र से गैर अनुसूचित क्षेत्र में तबादला करवाना चाहे, तो उसे एवजीदार का प्रस्ताव भी देना होगा जो गैर अनुसूचित क्षेत्र में सेवारत हो, उसके स्थान पर अनुसूचित क्षेत्र के शासकीय सेवक का स्थानांतरण हो सकेगा।
राज्य शासन ने वर्ष २०१७ के लिए नई तबादला नीति घोषित की है। प्रदेश सरकार की सेवा में कार्य कर रहे पति-पत्नी के एक स्थान पर तबादले को लेकर नीति में कहा गया है कि उन्हें एक ही स्थान पर पदस्थ होने का अधिकार नहीं रहेगा, लेकन साथ ही कहा गया है कि इसके बावजूद यदि पति-पत्नी एक स्थान पर पदस्थापना का अनुरोध करें, तो विभाग उस पर सहानुभूतिपूर्वक विचार कर यथासंभव प्रशासकीय सुविधा तथा जनहित को ध्यान में रखते हुए एक ही स्थान पर पदस्थापना देने का प्रयास कर सकता है। अनुसूचित क्षेत्र के शासकीय सेवकों के मामलों में यह नीति है कि अनुसूचित क्षेत्र के शासकीय सेवकों गैर अनुसूचित होने पर उसके स्थान पर एवजीदार के आने के बाद ही उसे कार्यमुक्त किया जायेगा। जिन स्थान पर अधिकारी कर्मचारी अधिक संख्या में हैं, ऐसे स्थानों से स्थानांतरण न्यूनतम वाले स्थान के लिए हो, किसी भी स्थिति में न्यूनतम वाले स्थान पर तबादला नहीं किया जायेगा। ऐसा इसलिए किया जा रहा है, ताकि संतुलन बना रहे।
छत्तीसगढ़ की तबादला नीति में बदलाव
