बैतूल,नगर पालिका में अधिकारी इतने मदहोश हो चुके हैं इसके उदाहरण अक्सर देखने को मिल चुके हैं। तीन दिनों पहले उस समय हद हो गई जब एक उपयंत्री ने सभापति से प्रभारी सीएमओ के सामने ही अभद्रता कर डाली, लेकिन वे कुछ बोलने के बजाए केवल उनकी बाते सुनते रहे। सोमवार को जब कुछ पार्षदों को इस बात की जानकारी लगी तो मामला गरमा गया। नाराज पार्षदों ने उपयंत्री से माफी मांगने की बात की तो वे दोबारा पार्षदों से उलझ बैठे। उनका कहना था कि पार्षदों को उनसे बात करने का अधिकार नहीं है। मामला बढऩे पर उपयंत्री माफी मांगने को तैयार हुए।
राजेन्द्र वार्ड के पार्षद और स्वच्छता शाखा के सभापति दिलीप सतीजा पिछले दिनों अपने वार्ड की शहीद कालोनी में पाईप लाईन लीकेज होने से पानी बहने पर एक वाल बदलने के लिए प्रभारी सीएमओ अनिल पिप्पल के कक्ष में उपयंत्री अग्रवाल से चर्चा कर रहे थे। सतीजा ने उन्हें बताया कि लोगों की शिकायत आई है। इसलिए वाल बदलदिया जाए तो पीने का पानी मिल जाएगा। उनके द्वारा यह बात कहते ही उपयंत्री अग्रवाल भड़क गए और कहने लगे यह काम मेरा नहीं है। जल प्रदाय शाखा के निरीक्षक राकेश चौरसिया यह काम करेंगे। चूंकि श्री अग्रवाल जल शाखा से ही जुड़े हुए हैं इस लिए सभापति ने उन्हें यह बात कही, लेकिन वे अपनी बात मानने को राजी नहीं हुए और सभापति से विवाद करने लगे। सबसे बड़ी बात यह है कि पूरा माजरा आंखों से प्रभारी सीएमओ अनिल पिप्पल देखते रहे, लेकिन मामले में हस्तक्षेप कर उपयंत्री को समझाना उचित नहीं समझा।
आज फिर उलझे पार्षदों से
इस पूरे मामले में सोमवार को सभापति से अभद्रता की जानकारी अन्य पार्षदों को भी लग गई। पार्षद कैलाश धोटे, गीतेश बारस्कर, सावन्या शेषकर, पवन यादव ने प्रभारी सीएमओ पिप्पल से उपयंत्री पर कार्रवाई की मांग की, लेकिन वे लिखित में शिकायत की बात कहकर टालमटोली करते रहे। इस बीच सभी पार्षद उपयंत्री के कक्ष में पहुंच कर चर्चा करने पहुंचे और माफी मांगने की बात की तो वे भड़क उठे और उन्होंने सभी पार्षदों को यहां तक कह डाला कि आप लोगों को मुझसे बात करने का अधिकार नहीं है। अपनी बात सीएमओ और नगर पालिका अध्यक्ष से कहें मैं कोई बात नहीं सुनूंगा। यह मामला बहस तक पहुंच गया। करीब आधा घंटा पार्षदों और उपयंत्री के बीच तकरार चलती रही।
माफी मांगने को हुए राजी
पार्षदों की नाराजगी के बाद उपयंत्री के तेवर ठण्डे पड़े। हालांकि सूचना मिलने पर प्रभारी सीएमओ अनिल पिप्पल उपयंत्री के कक्ष में पहुंचे। यहां उन्होंने उपयंत्री अग्रवाल को समझाईश दी, लेकिन वे माफी मांगने से इंकार करते रहे। चुने हुए जनप्रतिनिधि के साथ एक उपयंत्री की अभद्रता का उन्होंने हवाला दिया, तब 45 मिनट बाद वे माफी मांगने को राजी हुए। हालांकि उपयंत्री की कार्यप्रणाली से पार्षदों में अभी भी रोष व्याप्त है। वे कार्रवाई की मांग को लेकर नगर पालिका अध्यक्ष से चर्चा करने वाले हैं।
इनका कहना
छोटा सा मामला था, लेकिन बातों में मामला उलझ गया, लिखित शिकायत नहीं मिली थी। इसलिए उपयंत्री पर कोई कार्रवाई नहीं की, लेकिन अब मामले में उपयंत्री ने माफी मांग ली है।
अनिल पिप्पल, प्रभारी सीएमओ, नपा बैतूल