अहमदाबाद, लोकसभा चुनाव से पहले उत्तरी गुजरात से कांग्रेस विधायक डॉ. आशा पटेल ने इस्तीफा दे दिया है. आशा पटेल ने कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता भी छोड़ दी है. आशा पटेल के इस्तीफे से कांग्रेस में हड़कम्प मच गया है और गुजरात की सियासत गरमा गई है. डॉ. आशा पटेल ने आज सुबह विधानसभा अध्यक्ष राजेन्द्र त्रिवेदी के निवासस्थान उन्हें अपना इस्तीफा दिया. आशा पटेल के इस्तीफे को विधानसभा अध्यक्ष ने स्वीकार कर लिया है. इस्तीफा देने के बाद आशा पटेल ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की कड़ी आलोचना की. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी का नेतृत्व निष्फल साबित हुआ है. कांग्रेस में गुटबंदी आंतरिक कलह चरम पर होने का दावा करते हुए आशा पटेल ने आरोप लगाया कि कांग्रेस जाति और धर्म के नाम पर लड़ाने में यकीन करती है. उन्होंने कहा कि मैंने कई दफा कांग्रेस में राष्ट्रीय और प्रदेश स्तर पर अपनी बात रखने की कोशिश की है, जिसका उचित जवाब नहीं मिलने पर मैंने पार्टी छोड़ने का फैसला किया है. उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस की बैठकों में बैठने के लिए कुर्सी नहीं मिलती थी. पीएम मोदी समेत भाजपा सरकार के कार्यों की आशा पटेल ने तारीफ की. आशा पटेल ने सवर्णों को 10 प्रतिशत आरक्षण देने के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के फैसले का स्वागत किया, हांलाकि उन्होंने भाजपा में शामिल होने के बारे में फिलहाल कुछ भी कहने से इंकार कर दिया. आशा पटेल ने कहा कि अपने समर्थकों से इस बारे में बातचीत करने के बाद ही कोई फैसला करूंगी. लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को तगड़ा झटका लगा है. जानकारी के मुताबिक कांग्रेस में डॉ. आशा पटेल की लगातार उपेक्षा की जा रही थी, जिसकी वजह से वह पार्टी से नाराज चल रही थी.