पद्मावती विवाद,अलाउद्दीन खिलजी की नजर में खोट था- उमा भारती

नई दिल्ली,केंद्रीय पेयजल और स्वच्छता मंत्री उमा भारती ने फिल्म ‘पद्मावती’ पर सवाल उठाते हुए खुला खत लिखा है। उन्होंने कहा है कि फिल्मों में ऐतिहासिक तथ्यों से छेड़छाड़ नहीं होनी चाहिए। अलाउद्दीन खिलजी की रानी पद्मावती पर बुरी नजर थी और इसके लिए उसने चित्तौड़ को नष्ट कर दिया था। हालांकि मोदी सरकार की सूचना एवं प्रसारण मंत्री स्मृति इरानी साफ कर चुकी हैं कि फिल्म रिलीज को लेकर कोई समस्या नहीं हो, इसके लिए सरकार ध्यान रखेगी।
उमा भारती ने शुक्रवार को भी एक के बाद एक ट्वीट के जरिए कहा था कि वह इस विषय पर तटस्थ नहीं रह सकतीं हैं। उन्होंने इस विवाद को सुलझाने के लिए सलाह दी थी कि रिलीज से पहले इतिहासकार, फिल्मकार, आपत्ति करने वाले समुदाय के प्रतिनिधि और सेंसर बोर्ड मिलकर कमिटी बनाए और इसपर फैसला करें।
उमा भारती ने शनिवार को ट्विटर पर खत शेयर किया। इसमें उन्होंने लिखा है, ‘तथ्य को बदला नहीं जा सकता, उसे अच्छा या बुरा कहा जा सकता है। सोचने की आजादी किसी भी तथ्य की निंदा या स्तुति का अधिकार हमें देती है। जब आप किसी ऐतिहासिक तथ्य पर फिल्म बनाते हैं तो उसके फैक्ट को वॉयलेट नहीं कर सकते। रानी पद्मावती की गाथा एक ऐतिहासिक तथ्य है। अलाउद्दीन खिलजी की बुरी नजर रानी पद्मावती पर थी और इसके लिए उसने चित्तौड़ को नष्ट कर दिया था। रानी पद्मावती के प्रति राणा रतन सिंह अपने साथियों के साथ वीरगति को प्राप्त हुए थे। स्वंय रानी पद्मावती ने हजारों उन स्त्रियों के साथ जिनके पति वीरगति को प्राप्त हो गए थे, जीवित ही स्वंय को आग के हवाले कर जौहर कर लिया था।’
ज्ञात रहे कि पिछले दिनों एक कार्यक्रम में फिल्ममेकर करन जौहर ने स्मृति ईरानी से पद्मावती की रिलीज से संबंधित सवाल पूछा था। स्मृति ने इसके जवाब में कहा था कि फिल्म रिलीज को लेकर राजस्थान में कोई समस्या नहीं हो, इसके लिए सरकार ध्यान रखेगी। राजपूत करणी सेना जैसे संगठन लगातार फिल्म के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं और उनका कहना है कि वे 1 दिसंबर को रिलीज हो रही फिल्म का बहिष्कार करेंगे।

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